Wednesday, 18 June 2025

मौसम की भविष्यवाणी सावधान झंझा चकोर घन गर्जन वज्रपात और भयानक बिजली की चमक गरज के साथ नीरदमाला के साथ

मौसम की भविष्यवाणी सावधान झंझा चकोर घन गर्जन वज्रपात और भयानक बिजली की चमक गरज के साथ नीरदमाला के साथ आज से जौनपुर वाराणसी जलालपुर पंडित दीनदयाल उपाध्याय नगर गाजीपुर आजमगढ़ प्रयागराज सुल्तानपुर अयोध्या अंबेडकर नगर और पूर्वांचल के आसपास सभी जिलों में सुबह 5:00 बजे से लेकर 7 बजे बीच और रात को 9:00 बजे से 12:00 बजे के बीच भयंकर वर्षा से गर्मी शांत हो जाएगी और जनजीवन प्रलयंलकारी गर्मी उमस और पसीना से आनंद विभोर हो जाएगा इसके पहले 15 जून से कमजोर मानसूनी वर्षा शुरू हुई जो अब धीरे-धीरे शक्तिशाली रूप ग्रहण कर रही है 15जूनप्रारंभ हुई मानसूनी वर्षा आज भी जौनपुर सहित पूरे  देश में जारी रहेगी आज का अधिकतम तापमान 37 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस रहेगा ओरिया वर्ष लगातार 7 दिनों तक चलेगी।

कल के मौसम के बारे में अनुमान है कि अधिकतम तापमान 35 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 25 डिग्री सेल्सियस रहेगा आज भी मानसून बरसात जौनपुर पूर्वांचल और उत्तर प्रदेश सहितपूरे देश में जारी रहेगी मुंबई महाराष्ट्र कर्नाटक केरल गोवा बिहार बंगाल पूर्वोत्तर भारत राजस्थान गुजरात महाराष्ट्र मुंबई नालासोपारा में झमाझम गणगौर प्रचंड वर्षा होगी

आज भोर से ही पूर्वी और  पूर्वी हवाओं के साथ मध्य घने बादल छाए रहेंगे हवाओं की गति 10 से 17 किलोमीटर प्रति घंटा रहेगी जो बाद में झंझा झकॊर में बदल जाएगी

अचानक हर जगह  घनघोर वर्षा होगी विशेष कर सुबह और रात में वर्षा होने की प्रबल संभावना है और यह वर्ष कई दिनों तक चलेगी  जौनपुर और आसपास के सभी जिलों और पूर्वांचलमें आज तेज वर्षा होगी

वायु गुणवत्ता सूचकांक 100 से 200 के बीच रहेगी और प्रदूषण कानों की मात्रा भी वायु में मध्यम रहेगी पराबैंगनी किरणों की तीव्रता बहुत मध्यम होगी इससे धूप में झुलसने वाली गर्मी का अनुभव कम होगा 

कल भी वर्ष जारी रहेगी जो आज से तेज होगी कल विशेष कर भोर से लेकर दोपहर के आसपास जौनपुर और पूर्वांचल के सभी जिलों में अच्छी वर्षा होने की संभावना है जो बिजली की गरज चमक और वज्रपात के साथ होगी 

सूर्योदय सुबह 5:05  पर और सूर्यास्त 6:55 पर होगा दिन की अवधि 13 घंटे 50 मिनट और रात की अवधि 10 घंटे 10 मिनट रहेगी

आने वाले दिनों में लगातार और अच्छी वर्षा की संभावना है जो एक सप्ताह तक विद्यमान रहेगी स्थानीय प्रभाव हवाओं की दिशा और संघनन वाष्पन से कहीं  कहीं बहुत भारी और मूसलाधार वर्षा भी हो सकती है तो कुछ क्षेत्र में हल्की मध्यम वर्ष भी होगी वैसे अधिकांश जगहों पर तेज वर्षा होगी भी लगातार 13 दिनों से शरीर जलाने वाली और पसीने से शराब और करने वाली गर्मी उमस पसीना समाप्त हो जाएगा

ऐसे बीच महाराष्ट्र मुंबई नालासोपारा पालघर नवी मुंबई ठाणे पूरे संपूर्ण गुजरात अयोध्या से लखनऊ बरेली मुरादाबाद बिजनौर और आसपास मध्य प्रदेश बंगाल और बिहार के तथा पूर्वोत्तर भारत के अधिकांश भागों में भारी से बहुत भारी मूसलाधार वर्षा होगी बाकी देश में भी तेज मध्यम वर्षा मानसून की जारी रहेगी वर्षा के साथ जल प्लावन बाढ़ और सड़क पुल बह जाने के भयानक दुर्घटनाएं भी पूरे देश में होगी
डॉ दिलीप कुमार सिंह मौसम विज्ञानी ज्योतिष शिरोमणि एवं निदेशक अलका शिप्रा वैष्णवी केंद्र जौनपुर 7017713978

[6/12, 5:27 AM] Dr  Dileep Kumar singh: मौसम की भविष्यवाणी

 जारी रहेगी अग्नि वर्षा 
जौनपुर आसपास और पूर्वांचल तथा उत्तरी भारत में प्रचंड और विकराल गर्मी का आज आखिरी दिन है 

आज सुबह मौसम परिवर्तन देखने शुरू हो जाएगा यद्यपि दोपहर में फिर प्रचंड गर्मी और धूप रहेगी लेकिन बादलों का आना-जाना बढ़ता चला जाएगा 

कल अर्थात 14 जून से जौनपुर और इसके आसपास के सभी जिलों में दूसरी मानसूनी लहर से बूंदाबांदी हल्की वर्षा कहीं-कहीं अच्छी वर्षा बिजली की गरज चमक वज्रपात के साथ झंझा झकोर  घन गर्जन वारिद माला के साथ प्रारंभ हो जाएगी कहीं कम तो कहीं अधिक लेकिन वर्ष का क्रम शुरू हो जाएगा

मौसम विभाग आज स्काई वेदर के सारे अनुमान ग्रस्त हो गए जब किए लोग लाखों रुपया वेतन पाते हैं और उपग्रह से लेकर लाखों करोड़ों रुपए के यंत्र इनके पास रखे हुए हैं इन्होंने कल ही पूरे प्रदेश में अर्थात 12 और 13 जून को आंधी तूफान बवंडर और प्रचंड वर्ष की भविष्यवाणी कर दी जो सभी समाचार पत्रों में मोटे-मोटे हेडलाइंस में छापी गई थी और उन्हें अपना यह आकलन वापस लेना पड़ा

हमारे अलका शिप्रा वैष्णवी केंद्र के द्वारा जो भविष्यवाणी 5 जून को की गई थी वह एक-एक अक्षर सही हुई और आज अर्थात 13 तक भयंकर और महा प्रचंड गर्मी पसीना और उम्र से सब की तेरही हो चुकी है

प्रतीक्षा की घड़ियां आज शाम तक समाप्त हो जाएंगे हवा में धीरे-धीरे नामी और ठंडापन बढ़ता जाएगा और कल दिन बीते हर जगह शरीर को खिला देने वाली मानसूनी वर्षा शुरू हो जाएगी इसलिए आवाज और खेल लीजिए और एक बार फिर लगातार 48 वर्षों से हमारे केंद्र की भविष्यवाणी सही होगी जो 99 परीक्षित की दर से सही हुई जो दुनिया का एक नौंवा आश्चर्य है 

आज तो हमारी भविष्यवाणी सही होने की शुभकामना हमारे शत्रु और आलोचक गण ऊपर से मित्र अंदर से महान शत्रु आस्तीन के सांप और प्रेजेंट ईर्ष्या द्वेष जलन रखने वाले लोग भी कर रहे होंगे
और इसी के साथ लगातार 10 दिनों की भयानक झुलसा देने वाली और पसीने से डर कर देने वाली और खोपड़ी हिला देने वाली गर्मी धीरे-धीरे समाप्त हो जाएगी

हमारे अलका शिप्रा वैष्णवी ज्योतिष मौसम पूर्वानुमान और विज्ञान अनुसंधान केंद्र के अनुसार अभी भयंकर गर्मी और अग्नि वर्षा एक दिन अर्थात आज 13 जून तक तक जारी रहेगी जो कि हमने 15 दिन पहले कई समाचार पत्रों में लिख दिया था 

जबकि भारतीय मौसम विभाग और स्काई वेदर आज से ही जौनपुर सहित पूरे उत्तर प्रदेश और पश्चिमी उत्तरी भारत में आंधी तूफान वर्षा दिखा रहा है 5 जून से 13 जून तक आग उगलता रहेगा सूर्य आसमान से बरसेगी आज पारा होगा 44 के पार मच जाएगा हाहाकार 13 के पहले नहीं होना है उद्धार 14 जून से मौसम बदलने और वर्षा होने की प्रबल संभावना बन रही है वैसे मौसम का परिवर्तन कल अर्थ 13 जून से दिखना शुरू हो जाएगा

आज का अधिकतम तापमान 44.2 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 32डिग्री सेल्सियस रहेगा हल्के-फुल्के बादलों के अलावा प्रचंड तेज धूप और भीषण गर्म मौसम रहेगा  वर्षा की  संभावना नहीं  है । अचानक कुछ क्षेत्रों में बादल के साथ बूंदाबांदी हो सकती है यद्यपि इसकी संभावना बहुत कम है

 पूर्वी हवा होने के कारण या गर्मी 49 डिग्री के समान असर करेगी गर्मी सूचकांक अर्थात हिट इंडेक्स 50 के आसपास होनेसे पूरा जन जीवन अभी दो दिनों तक बुरी तरह अस्त-व्यस्त रहेगा अब देखना है कि खरबो रूपयों के आश्चर्यजनक मौसम यंत्रों और उपग्रह से सुसज्जित भारतीय मौसम विभाग और स्काई वेदर की भविष्यवाणी सही होती है या कुछ सावधानियां और ज्योतिष पंचांग और भारतीय कहावत पर आधारित हमारे केंद्र की 15 दिन पहले की भविष्यवाणी सही होती है

कल के बारे में अनुमान है कि अधिकतम तापमान 42 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 30 डिग्री सेल्सियस के आसपास रहेगा कल भी खुली धूप और साफ चटक मौसम होगा कहीं-कहीं बादल हो सकते हैं वर्ष की कोई विशेष संभावना नहीं है लेकिन यह याद रखने की बात है कि कभी भी और कहीं भी अचानक तेज हवा वज्रपात आंधी तूफान के साथ मौसम बदल सकता है और हल्की वर्षा हो सकती है।

हवा की दिशा परिवर्तित होती रहेगी मुख्य रूप से  पूर्वी  रहेगी और हवा की गति 10 से 15 किलोमीटर प्रति घंटा के आसपास रहेगी वायुमंडल में आर्द्रता की मात्रा 25 से 70% के बीच रहेगी पूर्वी हवा होने के कारण वास्तविक गर्मी और तापमान 5 डिग्री अधिक प्रतीत होता 43 डिग्री सेल्सियस ऐसा लगेगा मानो हम 48 डिग्री तापमान में रह रहे हैं न्यूनतम तापमान 32 डिग्री होने से रात को सोना असंभव हो जाएगा

वायु गुणवत्ता सूचकांक 100 से 200 के बीच रहेगा जबकि पराबैंगनी किरणों का स्तर 7 से 11 के बीच रहेगी जो बहुत खतरनाक है वायु प्रदूषण और प्रदूषण कारकों की मात्रा मध्यम रहेगी 

 अचानक आंधी बवंडर के साथ वर्षा हो जाए तो अलग बात जौनपुर और आसपास के सभी पूर्वांचल के जिलों में और उत्तरी भारत के अनेक भागों में यह प्रचंड सुपर अर्थात महान तापलहर सब कुछ झुलसाकर हाहाकार मचा का पूर्वी हवा में नया कीर्तिमान स्थापित करते हुए 13 जून के आसपास धीरे-धीरे सुधार पर आ जाएगी और 13 -14 जून को जौनपुर सहित कई भागों में वर्षा होने की प्रबल संभावना बन रही है आज और कल बेहद सावधान रहना है।

मानसून का पहला कमजोर चक्र जौनपुर उत्तर प्रदेश पूर्वांचल से जा चुका है और अभी यह दक्षिण भारत महाराष्ट्र से लेकर उड़ीसा बंगाल पूर्वोत्तर भारत में घनघोर वर्षा कर रहा है अगला मानसूनी चक्र 14 से सकरीहोकर 21 तक वर्षा करेगा  तब तक बहुत ही प्रचंड भयंकर गर्मी झेलना पड़ेगा। 

केरल से मुंबई तक नया मानसूनी चक्र 11 से 12 के बीच विकसित होगा और केरल कर्नाटक गोवा तमिलनाडु आंध्र प्रदेश तेलंगाना उड़ीसा महाराष्ट्र मुंबई नालासोपारा वसई विरार दहानू रोड सूरत अहमदाबाद वापी वलसाड पुणे ठाणे नवी मुंबई कांदिवली बोरीवली मुलुंड हर जगह भारी से बहुत भारी वर्षा 12 जून तक प्रारंभ हो जाएगी और लोगों को बहुत राहत मिलेगी उत्तर भारत और जौनपुर वासियों को 14 जून तकिया खुशखबरी प्राप्त होगी 

डॉ दिलीप कुमार सिंह मौसम विज्ञानी ज्योतिष शिरोमणि एवं निदेशक अलका शिप्रा वैष्णवी ज्योतिष मौसम पूर्वानुमान एवं विज्ञान अनुसंधान केंद्र जौनपुर
[6/12, 5:27 AM] Dr  Dileep Kumar singh: कल 2:24 पर अधिकतम तापमान 44.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज हुआ
[6/12, 9:52 AM] Dr  Dileep Kumar singh: अंत में हमेशा की तरह हमारी ही भविष्यवाणी सही होगी मौसम विभाग के अनुसार तो आज जौनपुर और उत्तर प्रदेश में वर्ष होनी चाहिए थी जो पूरी तरह गलत हुई इसी तरह लापरवाही पूर्व काम करने वाले सरकारी विभाग और अनुमान पर चलने वाले निजी विभाग लगातार फेल होते रहेंगे क्योंकि यह लोग कड़ी धूप आंधी तूफान में बाहर निकाल कर काम नहीं करते केवल एयर कंडीशनर रूम में यंत्रों को देखकर जो भी उल्टा सीधा मन में आता है हनुमान व्यक्त कर देते हैं जौनपुर में इंटरनेट पर आधारित कुछ तथा कथित बड़े समाचार पत्रों का तापमान 42 डिग्री सेल्सियस पर नहीं हुआ जबकि इस बार पांच बार जौनपुर का तापमान 45 डिग्री पर किया है

Friday, 13 June 2025

News no 1:*वक्फ संशोधन विधेयक का विखंडन: एक सामाजिक सुधार, न कि धार्मिक विवाद*। news 2वक्फ सुधारों में पसमांदा मुसलमानों को शामिल करना: समानता और पारदर्शिता की ओर एक कदम

News no 1:
*वक्फ संशोधन विधेयक का विखंडन: एक सामाजिक सुधार, न कि धार्मिक विवाद*

कार्ल मार्क्स ने एक बार प्रसिद्ध रूप से कहा था - "धर्म जनता की अफीम है", एक मुहावरा जो धर्म की तुलना एक नशे से करता है, और रूपक रूप से समझाता है कि धर्म कैसे नशे की लत और हानिकारक हो सकता है। यह मुहावरा वक्फ संशोधन विधेयक के इर्द-गिर्द मौजूदा कथानक के लिए बिल्कुल उपयुक्त है, इस तथ्य को देखते हुए कि कुछ समूह इसे इस्लामी संस्थाओं पर सीधे हमले के रूप में पेश करने का प्रयास कर रहे हैं। दिलचस्प बात यह है कि संशोधनों का गहन विश्लेषण बताता है कि इन परिवर्तनों का उद्देश्य किसी धार्मिक समुदाय को लक्षित करना नहीं है, बल्कि वक्फ बोर्डों के भीतर जवाबदेही को सुव्यवस्थित और सुनिश्चित करना है। चूँकि धर्म अक्सर मुद्दे की योग्यता की जाँच किए बिना लोगों के बीच भावनाओं को सामने लाता है, इसलिए यह स्पष्ट करना महत्वपूर्ण है कि वक्फ संशोधन एक धार्मिक संघर्ष नहीं है, बल्कि भ्रष्टाचार से निपटने और पारदर्शिता बढ़ाने के उद्देश्य से एक आवश्यक सामाजिक सुधार है।
पवित्र कुरान में परिकल्पित इस्लामी शरिया में वक्फ की अवधारणा का कोई विशेष उल्लेख नहीं है। इसके बजाय, कुरान विशेष रूप से वक्फ बोर्ड जैसी संस्थाओं का नाम लिए बिना, दान और उदारता के कार्यों पर जोर देता है। कुरान की कई आयतें दान देने के महत्व पर जोर देती हैं लेकिन एक संस्था के रूप में वक्फ की स्थापना का कोई संदर्भ नहीं देती हैं। उदाहरण के लिए: "जब तक आप अपनी प्रिय चीज़ों में से कुछ दान नहीं करते, तब तक आप कभी भी धार्मिकता प्राप्त नहीं कर सकते। और जो कुछ भी आप देते हैं वह निश्चित रूप से अल्लाह को अच्छी तरह से पता है।" (सूरह अली 'इमरान: 92), "जो लोग अल्लाह के मार्ग में अपना धन खर्च करते हैं और अपने दान के बाद अपनी उदारता या आहत करने वाले शब्दों की याद नहीं दिलाते- वे अपने रब से अपना प्रतिफल पाएंगे।" (सूरह अल-बक़रा: 262)। आयतों की गहरी समझ से यह स्पष्ट होता है कि एक प्रशासनिक संस्था के रूप में वक्फ सदियों में विकसित हुआ और इसे दैवीय आदेश के बजाय सांस्कृतिक और सामाजिक प्रथाओं द्वारा अधिक आकार दिया गया। वक्फ संशोधन विधेयक पर विशुद्ध रूप से धार्मिक नजरिया लागू करना भ्रामक और प्रतिकूल दोनों है। इसके अतिरिक्त, हनफी न्यायशास्त्र के तहत, जिसका अधिकांश भारतीय मुसलमान पालन करते हैं, मुतवल्ली (वक्फ प्रशासक) का मुसलमान होना अनिवार्य नहीं है। प्रसिद्ध इस्लामी मदरसा दारुल उलूम देवबंद ने अपने फतवा संख्या 34944 में स्पष्ट रूप से कहा है कि वक्फ मामलों का अच्छी तरह से वाकिफ, ईमानदार और सक्षम व्यक्ति वक्फ संपत्तियों का प्रशासन कर सकता है, चाहे उनका धार्मिक जुड़ाव कुछ भी हो। यह दृष्टिकोण वक्फ बोर्डों में गैर-मुसलमानों को शामिल करने के विरोध के आधार को समाप्त कर देता है। मुतवल्ली की भूमिका मूल रूप से प्रशासनिक होती है, यह सुनिश्चित करना कि संसाधनों का कुशलतापूर्वक और निष्पक्ष रूप से उपयोग किया जाए- ऐसा कार्य जिसके लिए किसी धार्मिक योग्यता की आवश्यकता नहीं होती है। सरकार द्वारा प्रस्तावित संशोधनों का उद्देश्य मौजूदा वक्फ अधिनियम में संरचनात्मक खामियों को दूर करना विवादित संपत्तियों में न्यायिक हस्तक्षेप की अनुमति देकर निष्पक्ष सुनवाई और समाधान सुनिश्चित करने के लिए न्यायिक निरीक्षण के माध्यम से; बोर्ड के भीतर प्रतिनिधित्व बढ़ाकर वक्फ बोर्डों का पुनर्गठन करके, जिसमें महिलाओं और विविध पृष्ठभूमि से व्यक्तियों को अनिवार्य रूप से शामिल करना शामिल है और कुछ ऐसे खंडों को निरस्त करके मनमानी शक्तियों पर अंकुश लगाना जो सत्ता के दुरुपयोग से बचने के लिए वक्फ बोर्डों को अनियंत्रित अधिकार प्रदान करते हैं। वक्फ संशोधन विधेयक को धार्मिक विवाद के रूप में प्रस्तुत करना न केवल जवाबदेही के मूल मुद्दे को पटरी से उतारता है बल्कि अनावश्यक सांप्रदायिक दरार भी पैदा करता है। यह समय शासन से आस्था को अलग करने और यह सुनिश्चित करने पर ध्यान केंद्रित करने का है कि वक्फ संपत्तियों का प्रबंधन पारदर्शिता, दक्षता और समावेशिता के साथ किया जाए - एक ऐसा कदम जो न केवल संवैधानिक सिद्धांतों के साथ बल्कि इस्लामी दान के सार के साथ भी संरेखित है।
-फरहत अली खान 
एम ए गोल्ड मेडलिस्ट



News no 2
*वक्फ सुधारों में पसमांदा मुसलमानों को शामिल करना: समानता और पारदर्शिता की ओर एक कदम
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वक्फ (संशोधन) विधेयक की जांच कर रही संसद की संयुक्त समिति (जेपीसी) ने गुरुवार, 30 जनवरी, 2025 को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को अपनी रिपोर्ट सौंपी। रिपोर्ट में, जेपीसी ने कुछ संशोधन सुझाए हैं, जिनमें से एक वक्फ की निर्णय लेने की प्रक्रिया में वंचित और पिछड़े मुसलमानों या पसमांदा मुसलमानों को शामिल करना सुनिश्चित करना है। वक्फ अधिनियम में प्रस्तावित संशोधन, जैसा कि हाल के घटनाक्रमों में उजागर हुआ है, का उद्देश्य भारत में वक्फ प्रणाली के भीतर कई लंबे समय से चले आ रहे मुद्दों को संबोधित करना है। पिछला अधिनियम वक्फ संपत्तियों के शासन और लाभों में पसमांदा मुसलमानों या पिछड़े मुसलमानों के प्रतिनिधित्व और चूक के कारण विशिष्ट था। इन समुदायों के ऐतिहासिक हाशिए पर रहने और वक्फ प्रणाली में व्याप्त व्यापक भ्रष्टाचार को देखते हुए यह चूक महत्वपूर्ण है। वक्फ, एक इस्लामी संपत्ति है जिसे ट्रस्ट में रखा जाता है और धर्मार्थ या धार्मिक उद्देश्यों के लिए इस्तेमाल किया जाता है, यह भारत में मुस्लिम सामाजिक और आर्थिक जीवन की आधारशिला रही है। हालाँकि, वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में अक्सर भ्रष्टाचार, कुप्रबंधन और हाशिए पर पड़े मुस्लिम समुदायों के बहिष्कार के आरोप लगे हैं। अवैध अतिक्रमण, अनधिकृत बिक्री और वक्फ भूमि के दुरुपयोग की रिपोर्टें लगातार सामने आती रही हैं, जिससे व्यवस्था में विश्वास कम होता गया है। प्रस्तावित संशोधन, जैसे कि दावों का समर्थन करने के लिए संपत्ति के कामों की आवश्यकता और वक्फ बोर्डों में गैर-मुस्लिम सदस्यों को शामिल करना, अधिक पारदर्शिता और जवाबदेही की दिशा में कदम हैं। पसमांदा मुसलमान, जो भारत में मुस्लिम आबादी का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं, ऐतिहासिक रूप से सामाजिक-आर्थिक और राजनीतिक जीवन के हाशिये पर धकेल दिए गए हैं। अपनी संख्यात्मक ताकत के बावजूद, वे वक्फ संपत्तियों के प्रशासन में कम प्रतिनिधित्व वाले हैं, जिन्हें अक्सर मुस्लिम समुदाय के अधिक विशेषाधिकार प्राप्त वर्गों द्वारा नियंत्रित किया जाता है। इस बहिष्कार ने पसमांदा मुसलमानों के बीच गरीबी और वंचितता के चक्र को कायम रखा है। वक्फ बोर्ड में प्रतिनिधित्व की कमी का मतलब है कि पसमांदा मुसलमानों की विशिष्ट ज़रूरतों और चिंताओं को अक्सर अनदेखा कर दिया जाता है। इससे ऐसी स्थिति पैदा हो गई है कि वक्फ संपत्तियाँ, जो पूरे मुस्लिम समुदाय की सेवा के लिए हैं, अनुपातहीन रूप से अभिजात वर्ग को लाभ पहुँचा रही हैं, जबकि हाशिए पर पड़े लोग बुनियादी सुविधाओं और अवसरों के लिए संघर्ष कर रहे हैं। इन असमानताओं को दूर करने के लिए, यह ज़रूरी है कि प्रस्तावित वक्फ संशोधन विधेयक में वक्फ संपत्तियों के प्रशासन में पसमांदा मुसलमानों को शामिल करने के प्रावधान शामिल हों। इसे निम्नलिखित उपायों के ज़रिए हासिल किया जा सकता है: संशोधन में राज्य और राष्ट्रीय दोनों स्तरों पर वक्फ बोर्डों में पसमांदा मुसलमानों के लिए सीटों के आरक्षण को अनिवार्य किया जाना चाहिए। इससे यह सुनिश्चित होगा कि उनकी आवाज़ सुनी जाए और निर्णय लेने की प्रक्रियाओं में उनके हितों का प्रतिनिधित्व किया जाए। विधेयक में वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन और उपयोग के लिए सख्त दिशा-निर्देश पेश किए जाने चाहिए, जिसमें यह सुनिश्चित करने पर ध्यान दिया जाना चाहिए कि इन संसाधनों का उपयोग मुस्लिम समुदाय के सभी वर्गों, विशेष रूप से हाशिए पर पड़े लोगों के लाभ के लिए किया जाए। वक्फ संपत्तियों का नियमित ऑडिट स्वतंत्र निकायों द्वारा किया जाना चाहिए, जिसमें पसमांदा मुस्लिम प्रतिनिधियों की सक्रिय भागीदारी हो। इससे भ्रष्टाचार और कुप्रबंधन के मामलों की पहचान करने और उन्हें संबोधित करने में मदद मिलेगी। वक्फ संपत्तियों से उत्पन्न आय का एक हिस्सा पसमांदा मुसलमानों के उत्थान के उद्देश्य से शैक्षिक और आर्थिक पहलों के लिए निर्धारित किया जाना चाहिए। इसमें छात्रवृत्ति, व्यावसायिक प्रशिक्षण कार्यक्रम और छोटे व्यवसाय अनुदान शामिल हो सकते हैं।
वक्फ शासन में पसमांदा मुसलमानों को शामिल करना न केवल सामाजिक न्याय का मामला है, बल्कि भ्रष्टाचार को दूर करने और व्यवस्था में विश्वास पैदा करने की दिशा में एक व्यावहारिक कदम भी है। हाशिए पर पड़े समुदाय, जब सशक्त होते हैं, तो वे निगरानीकर्ता के रूप में कार्य कर सकते हैं, यह सुनिश्चित करते हुए कि संसाधनों का पारदर्शी और समान रूप से उपयोग किया जाता है। उनकी भागीदारी वक्फ प्रणाली के सामने आने वाली चुनौतियों के लिए नए दृष्टिकोण और अभिनव समाधान ला सकती है। पसमांदा मुसलमानों को शामिल करना समानता और न्याय के व्यापक सिद्धांतों के साथ संरेखित होगा जो इस्लामी शिक्षाओं को रेखांकित करते हैं। यह मुस्लिम समुदाय के सभी सदस्यों के कल्याण के लिए प्रतिबद्धता को प्रदर्शित करेगा, चाहे उनकी सामाजिक या आर्थिक स्थिति कुछ भी हो।
वक्फ अधिनियम में प्रस्तावित संशोधन उन प्रणालीगत मुद्दों को संबोधित करने का अवसर प्रदान करते हैं, जिन्होंने दशकों से वक्फ प्रणाली को परेशान किया है। हालांकि, इन सुधारों को वास्तव में प्रभावी बनाने के लिए, उन्हें पसमांदा मुसलमानों के समावेश और प्रतिनिधित्व की पुष्टि करनी चाहिए। ऐसा करके, सरकार यह सुनिश्चित कर सकती है कि वक्फ संपत्तियों का लाभ समान रूप से वितरित किया जाए, और मुस्लिम समुदाय के हाशिए पर पड़े वर्गों को सम्मानजनक और संतुष्ट जीवन जीने का अधिकार दिया जाए। भारत जैसे विविधतापूर्ण और बहुलतावादी समाज में, यह आवश्यक है कि सभी समुदायों, विशेष रूप से हाशिए पर पड़े लोगों को सार्वजनिक संसाधनों में भाग लेने और उनसे लाभ उठाने का उचित अवसर दिया जाए। वक्फ शासन में पसमांदा मुसलमानों को शामिल करना  केवल एक कानूनी या प्रशासनिक सुधार नहीं है; यह एक नैतिक अनिवार्यता है जो न्याय, समानता और समावेशिता के मूल्यों को दर्शाती है।
फरहत अली खान 
एम ए गोल्ड मेडलिस्ट 

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Thursday, 12 June 2025

आखिर क्यों पत्नियां अपने पति की हत्या कर रही है- डॉ दिलीप कुमार सिंह

आखिर क्यों पत्नियां अपने पति की हत्या कर रही है-डॉ दिलीप कुमार सिंह 
मेघालय के शिलांग में सोनम रघुवंशी पत्नी द्वारा अपने तीन प्रेमियों के साथ मिलकर अपने पति राजा रघुवंशी की हत्या हनीमून मनाने के कालखंड में कर दिया गया और जिससे पूरा देश नि:शब्द है स्तब्ध है और यह कोई अंतिम कड़ी नहीं है यह एक ऐसी कड़ी है जो दिन-रात बढ़ती चली जा रही है और कोई भी दिन ऐसा नहीं होता जब समाचार पत्रों टेलीविजन चैनल में न आता हो कि पत्नी द्वारा पति की हत्या कर दी गई क्या कर दी गई है यह अचानक ही उग्र और आवेशित रूप कब और कैसे भारत की लड़कियों स्त्रियों में प्रवेश कर गया कि आत्महत्या करने वाली महिलाएं उग्रह् और आक्रामक होकर इस तरह के अ विश्वास से भरे पाप पूर्ण विधि और नैतिकता के विरुद्ध कार्य निडर होकर कर रही है और सबसे बड़ी बात उनको ऐसा करने में कोई डर है संकोच लज्जा भी नहीं है 

मानव जीवन बहुत जटिल और उलझी हुई पहेली है इसीलिए मनुष्य को विकसित जानवर सामाजिक प्राणी सबसे बुद्धिमान प्राणी और न जाने क्या-क्या कहा गया है लेकिन मुझे मनुष्य की प्रकृति आदिम जानवरों से बहुत अधिक अलग नहीं है  इसके लिए शास्त्र भी कहता है की आहार निदराव है और मिथुन या जानवरों और मनुष्य में एक समान होता है  धर्म ही जानवर और मनुष्य को अलग करता है और सनातन धर्म के विरुद्ध चलने वाले गिर ही जाते हैं इसका प्रमाण समय-समय पर क्रोध आवेश हत्या आत्महत्या सामूहिक नरसंहार सामूहिक बलात्कार दंगा फसाद और आपसी लड़ाई झगड़े में मिलता रहता है लेकिन वर्तमान समय में जो कुछ हो रहा है उसका कारण हमारे समाज में ही छिपा हुआ है तो लिए इसके विश्लेषण का प्रयास करते हैं 

देश में एक ऐसा वर्ग विकसित हो रहा है जो सोनम रघुवंशी के परिवार जैसा है धनवान है सारी सुविधाएं हैं जिसमें माता-पिता और परिवार वालों को एक दूसरे के साथ रहने की उठने बैठने की भोजन करने की फुर्सत नहीं है एक घर में रहते हुए भी कभी-कभी बात किए महीना हो जाते हैं हर व्यक्ति चार से पांच घंटे मोबाइल खेल लेता है लेकिन अपने सजीव परिवार से हंसने खेलने बात करने के लिए उसके पास समय नहीं है यह बढ़ते हुए अपराध का और विकृत और आक्रामक प्रवृत्ति का सबसे प्रमुख कारण है जिसके वजह से ऐसी घटनाएं लगातार बढ़ती चली जा रही 

दूसरा कारण चलचित्र जगत टेलीविजन मोबाइल इंटरनेट और तमाम ऐसे मंच है जहां पर गंदगी अश्लीलता मैथुनी दृश्यों की भरमार है और जो विदेश प्रायोजित हैं या पैसा कमाने के लिए विकसित किए गए हैं और 5 वर्ष से 15 वर्ष का किशोर पूरी तरह कच्चा घड़ा होता है जो देखता है वही सीखता है वही करता है ऐसा वह जिज्ञासा के वशीभूत होकर करता है अगर इस कालखंड में उसको सही जानकारी न दी जाए तो वह गलत सही का भेद किए बिना गंदे से गंदा और गलत से गलत काम करता है कितने ही ऐसे लड़के लड़कियों को देखा गया जो 7 से 12 वर्ष के बीच में है और फिल्म मोबाइल विज्ञापन देखकर ही जिज्ञासा के वशीभूत होकर एक दूसरे से संभोग करते देखे गए हैं स्कूल कॉलेज में यह प्रवृत्ति अधिक बढ़ रही है व्यक्ति जिस वातावरण के बीच रहेगा वैसा ही उसकी सोच विचार और उसका स्वभाव बन जाएगा 

सबसे अधिक पतन संयुक्त परिवार के विखंडन से हुआ है यह भी विदेश प्रायोजित सरकार की सहायता से किया गया ऐसा काम है जो बहुत अधिक भयानक है सरकार द्वारा नारा दिया गया छोटा परिवार सुखी परिवार और आज परिवार नाम की कोई चीज है ही नहीं परिवार से मतलब है पति-पत्नी और बच्चे उन बच्चों के माता-पिता दादा दादी नाना नानी को भी परिवार से अलग रखा गया है जब परिवार संयुक्त होता था तो एक दूसरे का मान सम्मान करता था एक दूसरे से लज्जा शर्म करता था छोटे बड़ों में संकोच मर्यादा समय की भावना रहती थी और सबसे बड़ी बात संयुक्त परिवार में हर कार्यों पर एक दूसरे का नियंत्रण रहता था इससे लोग मार्ग से अधिक नहीं भटक पाए थे इन सभी कार्यों को बखूबी करती थी । पहले पुरुष के साथ जवान स्त्री चाहे वह उसकी बेटी ही क्यों ना हो एकांत में नहीं जाते थे और आज सबके गले लगा कर भेंट कर रही है उसका परिणाम सामने आ रहा है संयुक्त परिवार में हर व्यक्ति के लिए स्थान होता था और यह एक शक्तिशाली परिवार होता था और शक्तिशाली परिवार संयुक्त परिवार के बिना संभव नहीं है इसमें गलत काम करने की संभावना नहीं रहती क्योंकि लड़कियों के लिए दादी से लेकर आसान नंद भौजाई सारे रिश्ते रहते थे और पुरुषों का भी वही हाल था

आज की स्थिति बड़ी विचित्र और भयानक है माता-पिता काम में चले जाते हैं ज्यादातर दोनों लोग काम करते हैं घर में एक सन्नाटा छा जाता है एक या दो बच्चों से अधिक होते नहीं जिसके साथ खेल कूद सके पढ़ाई कर सके या अपने विचारों का आदान-प्रदान कर सके इसका फल होता है या तो धीरे-धीरे बच्चा एकाकी अंतर्मुखी स्वभाव का होकर मोबाइल इंटरनेट में डूब जाता है और मानसिक अवसाद में चला जाता है दूसरा एकाकीपन से निकलने के लिए उसको गंदे और दुराचारी लोग आसानी से किसी न किसी बहाने अपने वश में करके उसका शोषण कर लेते हैं और बात तक पता चलती है जब पानी सर से ऊपर गुज़र जाता है 

आज यही एकाकीपन लोगों को मानसिक अवसाद में ला रहा है जिससे छुटकारा पाने के लिए छोटे बच्चे और बच्चियों विभिन्न प्रकार के दुष्कर्म गंदगी और अश्लीलता भरी चीज करते हैं कितने तो नशा के आदती ही हो जाते हैं और कितने फिल्म मोबाइल इंटरनेट टेलीविजन देख कर चोरी हत्या और दुष्कर्म जैसे कार्य कर जाते हैं क्योंकि इस समय तक उनकी बुद्धि परिपक्व नहीं होती इस समय का बच्चा कच्चा खड़ा होता है और ऐसे ही लोगों को पुरुष और स्त्रियों द्वारा शिकार बनाया जाता है ज्यादातर बुजुर्ग आयोग की स्त्री पुरुष छोटे आयु की लड़कियों और बच्चों को अपना शिकार आसानी से बना लेता है क्योंकि इनका कोई डरभय नहीं रहता

एक और विचित्र बात है शुरू से ही लाखों करोड़ों साल से महिलाएं उन पुरुषों को अधिक पसंद करते हैं जो रसिक रंगीन झूठ स्वभाव के मक्कार चापलूसी और मीठी मीठी बातें करने वाले नाचने वाले जोकर जैसे गंदे हंसी मजाक करने वाले होते हैं अधिकांश महिलाएं इनके चक्कर में सच्चाई जानते हुए भी पड़ जाती हैं और जब तक उनकी चेतना जागृत होती है तब तक वह बहुत गहरी खाई में गिर चुकी होती है शराबी नशेड़ी गंजेड़ी भंगेड़ी चरसी अफीम हीरोइन तंबाकू गुटका पान द्वारा मसाला सेवन करने वाले लोगों का और गांजा पीने वाले लोगों को महिलाएं अधिक पसंद करती हैं कारण चाहे जो इसका एक कारण तो यह है कि ऐसे लोग बिना सोचे समझे महिलाओं के साथ कुकर्म करते हैं मीठी-मीठी बातें बोलते हैं और उनकी बातों का प्रतिरोध नहीं करते जो महिलाओं को बहुत अच्छा लगता है दूसरे नशे का सेवन करने के बाद थोड़ी देर के लिए उनकी काम शक्ति अर्थात सेक्स पावर बहुत बढ़ जाती है जो आज की महिलाएं बहुत अधिक पसंद करती है आगे परिणाम नहीं देखी है और इन सब का भयानक परिणाम होता है महिलाएं ऐसे लोगों को बहुत कम पसंद करती हैं जो ईमानदार हो सत्यवादी हो सही बात बोले सही चीज सिखाएं और जो अपने आमदनी के अनुसार पत्नी को चलना सिखाए कितने आश्चर्य की बात है कि एक बनारसी साड़ी देने वाले को सभी महिलाएं जीवन भर याद रखती हैं लेकिन जीवन भर उनके लिए खटने वाला पति बेचारा से अधिक कुछ नहीं होता है

सबसे बड़ा वैज्ञानिक और मनोवैज्ञानिक शक्ति है अभी है कि अधिकांश महिलाएं जिस व्यक्ति के साथ पहला संभोग करती है उसको कभी नहीं भूल पाती हैं और विवाह के पहले अगर ऐसा उन्होंने कर दिया है तब तो 99% संभावना है कि उनका वैवाहिक जीवन सुखद नहीं होगा या तो विवाह विच्छेद हो जाएगा या तो पति या पत्नी आत्महत्या कर लेंगे या पत्नी पति को जान से मरवा देगी और ऐसी महिलाएं जो विवाह पूर्व एक या एक से अधिक लोगों के साथ संभोग कर लेती है वह कभी भी पूरे जीवन सुखी तृप्ति नहीं होती और आजीवन सुख आनंद की तलाश में भटकते हुए एक से बढ़कर एक कम को कम करती रहती है ऐसा व्यक्ति जोकर हो सकता है नशेड़ी हो सकता है शराबी हो सकता है अधिक आयु का हो सकता है कम आयु का हो सकता है लेकिन वही महिला के मानस पटेल पर जीवन भर छाया रहता है इसीलिए पहले के बुद्धिमान लोग 14 15 वर्ष होते होते लड़कियों का और 17 18 वर्ष होते-होते लड़कों का विवाह कर देते हैं इससे सब कुछ सही रहता था आज वही आवश्यकता फिर से समाज में आ चुकी है 

सबसे बड़ी भयानक स्थिति तो तब है जब माता-पिता परिवार वाले अपने घर की लड़की की गंदी आदत जानते हुए भी उसे सारे तथ्य छुपा कर पैसों के बल पर किसी सज्जन और अच्छे व्यक्ति और घराने में विवाह कर देती है यह स्थिति विस्फोटक होती है क्योंकि जो स्त्री विवाह पूर्व खुले आम स्वच्छंद दुष्कर्म या संभोग की आदती हो चुकी होती है वह इसको बहुत बड़ा बंधन मानती है और इसके राह में जो भी आता है उसको साफ कर देती है जरूरी नहीं है कि पति ही इस काम में आने आए ऐसा देखा गया है कि जो भी सदस्य महिला या पुरुष ऐसी महिलाओं को टोका टोकी करते हैं या प्रतिबंध लगाते हैं उनको बहुत जल्दी ऐसी महिलाएं मौत के घाट उतार देती है या उन पर झूठा मुकदमा दर्ज करके खुद सत्संग होकर घूमती फिरती रहती है

सोनम रघुवंशी के मामले में यह सभी बातें  जो ऊपर कही गई लागू होता है क्योंकि उसके घर वाले उसके सारे कुकर्म और गंदगी जानते हुए भी उसे एक अच्छे और सभ्य घराने में विवाहित कर दिए जो सोनम को फांसी से कम नहीं था इसलिए सारी सुविधाएं और वैवाहिक सुख के बाद भी उसको राजा रघुवंशी में वह चीज नहीं मिली जो गंजेड़ी भंगेड़ी नशेड़ी शराबी चरसी कार्टून और जोकर जैसे अपने तीन प्रेमियों में मिलती थी और सबसे गहरा धक्का लगने वाली बात ऐसी की जिसे मुंह बोला भाई दिखा कर वह राखी बांधती थे वही उसका सबसे बड़ा प्रेमी निकला ऐसे में रोज हो रहे हैं और काफी पुरुष अब विवाह करने से डरने लगे हैं और कतराने लगे हैं 

गहराई से विवेचना करने पर एक और बहुत बड़ी बात सामने आती है आवारा और दुश्चरित्र लड़कियों की माताएं अधिकांश से खुद वैसी ही होती है कभी-कभी पिता भी ऐसा होता है लेकिन ज्यादातर चरित्रहीन और दुराचारी मां की संतान कभी भी सज्जन नहीं बन सकती विशेष करके लड़कियां क्योंकि उनको अपने माता का दर्शन नहीं रह जाता है समाज को डरती नहीं है ना उन्हें इज्जत  कलंक की चिंता होती है होश उनको तब आता है जब सारा जोश ठंडा हो जाता है और चिड़िया हाथ से निकल जाती है 

एक और बहुत बड़ा कारण अवैध संबंधों और दुराचार में विचार को लेकर हैं आजकल विवाह इतना देर से हो रहे हैं किया तो लड़कियां और लड़के हीन भावना से ग्रस्त हो जा रहे हैं कि विवाह के बाद एक दूसरे को संतुष्ट नहीं कर पाते या तो वे अधिकांशत अपने यौन संतुष्टि को विवाह के पूर्व ही प्राप्त कर ही लेते हैं और अधिकांश मामलों में घर गांव के लोग सगे संबंधी और काम करने वाले मजदूर इसमें आगे होते हैं जिन पर शंका की कम से कम गुंजाइश और जो आसानी से उपलब्ध हो ऐसे लोगों को ही ज्यादातर शिकार लड़कियों और औरतें बनती है कभी-कभी चालक नशेड़ी और चरसी लोग भी लड़कियों को अपना शिकार बना लेते हैं और 99% लड़कियां और औरतें सब कुछ जानते हुए भी कुकर्म के इस जाल में स्वयं फंसती है और पकड़े जाने पर सारा बोझ पुरुषों पर डाल देती है

संसद द्वारा बनाए गए कानून न्यायपालिका द्वारा अनेक व्यभिविचार दुराचार के प्रावधानों को रद्द करना रिलेशन लिव इन को छूट देना और यौन अपराध को बहुत लचीला बनाना भी लड़कियों के लिए बहुत घातक सिद्ध हुआ है और इन सब कानून की आड़ लेकर वह अपने को सही सिद्ध कर देती है अगर वह वयस्क है अर्थात 18 वर्ष से ऊपर है तो माता-पिता घर परिवार समाज वाले कर कर भी कुछ नहीं कर पाते और इसे गलत चरित्र की लड़की अपना हथियार बना लेती है और आंख तब खुलती है जब वह वेश्यालय में भेज दी जाती हैं या घर वाले ही हलाला करने लगते हैं या बच्चा पैदा करने की मशीन हो जाती है या जमीन या सूटकेस फ्रिज में उनकी लाश टुकड़ों टुकड़ों में मिलती है अधिकांश मामलों में घर वाले और पिता जान नहीं पाते लेकिन मां सब कुछ जानकर भी उसको छिपाती रहती हैं इससे लड़कियों को डर भय नैतिकता की चिंता नहीं रहती और सोचती हैं कानून हमारे पास है माता-पिता हमारा क्या कर लेंगे जबकि तत्काल संसद में ऐसा विधेयक पारित होना चाहिए इसमें लड़का या लड़की बिना अपने माता-पिता परिवार की सहमति दिए कोई विवाह करें तो उसको अवैध घोषित किया जाए और उसकी संपत्ति परिवार में विलीन हो जाए तब कुछ सुधार हो सकता है 

अगर घर परिवार समाज हमारे धर्मगुरु सांसद विधायक मंत्री और न्यायपालिका के लोग बहुत जल्दी इस पर त्वरित कार्यवाही नहीं करेंगे तो आने वाले दिनों में हर जगह राजा रघुवंशी जैसे कांड होते रहेंगे परिवार टूट कर बिखर जाएंगे संयुक्त परिवार तो खत्म हो ही गया है बच्चे कुछ छोटे-मोटे परिवार भी नष्ट हो जाएंगे इसलिए सब लोग लोग अभी से इस महायज्ञ के लिए जुट जाइए  जाइए इस महायज्ञ में सबको साथ चलना होगा तभी ऐसी हत्याओं पर रोक लग  सकती है वरना फैल रहा यह कुचक्र सबको अपनी गिरफ्त में ले लेगा ।डॉक्टर दिलीप कुमार सिंह

Monday, 26 May 2025

मानसून का समय से पूर्वआगमन और मानसूनी वर्षा का भविष्य -

मानसून का समय से पूर्वआगमन और मानसूनी वर्षा का भविष्य -डॉ दिलीप कुमार सिंह मौसम विज्ञानी ज्योतिष शिरोमणि

इस बार मानसून ने केरल और आसपास 15 में को पहुंचकर सबको आश्चर्यचकित कर दिया था जबकि भारत के मौसम विभाग और स्काई वेदर जैसे चैनल 27 से 30 में के बीच मानसून का आगमन मानकर मानसून के दो-तीन दिन पहले आने की घोषणा कर चुके थे लेकिन हमारे अलका शिप्रा वैष्णवी ज्योतिष मौसम पूर्वानुमान एवं विज्ञान अनुसंधान केंद्र जौनपुर के द्वारा पहले ही मानसून के 15 में से आने और बहुत तेजी से इसके 17 में तक महाराष्ट्र और दक्षिण भारत बंगाल की खाड़ी अरब सागर और पूर्वोत्तर भारत में फैलने की बिल्कुल स्पष्ट भविष्यवाणी बहुत पहले कर दिया था यद्यपि भारत के मौसम विभाग ने 15 में को मानसून के आगमन को न मानते हुए उसको 24 में से माना जो कि हर दृष्टि से अनुचित वैज्ञानिक और गलत है शायद अपने अनुमान को नजदीक ले जाने के लिए जानबूझकर उसे 24 से माना गया जबकि मानसून के जितने मानक होते हैं उन सभी के अनुसार 15 में से मानसूनी वर्षा प्रारंभ हो चुकी थी 

समय से पूर्व आया हुआ यह मानसून बहुत तेजी से बढ़कर कर्नाटक गोवा महाराष्ट्र मुंबई लक्षद्वीप अंडमान निकोबार बंगाल त्रिपुरा अरुणाचल प्रदेश असम मेघालय नगालैंड मणिपुर मिजोरम और बांग्लादेश 17 में तक पहुंच गया और वहां लगातार वर्षा हो रही है मुंबई और आसपास पिछले एक सप्ताह में100 से 200 सेंटीमीटर वर्षा हो चुकी है और यही हाल केरल कर्नाटक और गोवा जैसे प्रदेश का है इसी तरह अंडमान निकोबार लक्षद्वीप और पूर्वोत्तर भारत में भी इन 10 दिनों के कालअवधि में 100 से 150 सेंटीमीटर वर्षा हो चुकी है। ज्योतिश्वर पंचांग उपग्रह से प्राप्त आंकड़ों गणित के समीकरण और देसी कहावत और अन्य अनुमानों के अनुसार अभी यह वर्षा 30 में तक जारी रहेगी और 1 जून को जब मानसून आता है तब दक्षिण भारत में सूखे जैसी स्थितियां पैदा हो जाएंगी 

इधर उत्तर मध्य भारत और पश्चिम तथा पश्चिम उत्तर भारत में कमजोर पड़ा हुआ यह मानसून 25 से 30 में के बीच हल्की मध्यम वर्षा करता हुआ अचानक समाप्त हो जाएगा और इसके बाद महाराष्ट्र के उत्तर मध्य प्रदेश से लेकर उत्तर प्रदेश बिहार बंगाल और राजस्थान तथा दिल्ली हरियाणा पंजाब में मानसून का अगला चक्र 10 से 20 जून के आसपास प्रारंभ होगा इस प्रकार हमारे केंद्र के द्वारा समय से बहुत पहले मानसून आने की और भी चीज में सूखा पड़ने की भविष्यवाणी भी सही होगी 


15 से लेकर 30 में तक केरल तमिलनाडु से लेकर गोवा कर्नाटक मुंबई और सूरत तथा महाराष्ट्र के अधिकांश भागों में भारी से बहुत भारी और कहीं-कहीं प्रचंड मूसलाधार बाढ़ लाने वाली वर्षा होगी विशेष कर मुंबई गोवा कर्नाटक करने का स्थान और चेन्नई के आसपास तथा महाराष्ट्र के अनेक भागों में यह स्थितियां पैदा होगी उसके बाद अचानक ही मानसून में एक अंतराल आने और सूखे जैसी स्थितियां होने के संकेत हैं 

कुल मिलाकर इस वर्ष की वर्षा 105 प्रतिशत के आसपास होगी यह अंतराल के साथ होगी और जब जहां होगी बहुत तेज और कई कई दिनों तक होगी और बीच-बीच में सूखे जैसी स्थितियां पद्धति रहेंगे इन सब कर्म के लिए हिमालय और पामीर के पत्थर समुद्र की जलधाराएं ला नीना और अलीना सूर्य की पृथ्वी के सापेक्ष स्थिति स्थानक विक्षोभ जल और स्थल पर गर्मी का अंतर ला नीनो और एल नीनो जैसे कारक हरियाली प्रदूषण जंगल और सीमेंट तथा कंक्रीट के जंगल घर में लगे हुए वातानुकूलित यंत्र माइक्रोवेव व में और लगातार बढ़ रही विषैली कैसे साथ-साथ उत्तरी और दक्षिणी ध्रुव पर सूर्य का चुंबकीय प्रभाव अरब सागर और बंगाल की खाड़ी में उठने वाले चक्रवात और महा चक्रवात तथा धरती के अन्य भागों के आंधी बवंडर तूफान और महा चक्रवात सामूहिक रूप से निर्णायक भूमिका निभा रहे है इस वर्ष सूर्य पर हो रहे प्रचंड महा विस्फोट और निकलने वाली सौर ज्वालाएं और सौर आंधियां समय पूर्व मानसून के आगमन का एक प्रमुख कारण हैजंगल और हरियाली के लगातार समाप्त हो जाने सेऔर सीमेंट कंक्रीट के जंगल बढ़ जाने से वर्षा लगातार कम दिनों में लेकिन भारी मात्रा में हो रहे हैं और पहले वाली वर्षा जो 10 से 15 दिनों तक लगातार होती थी उसका कम टूट गया है यही हाल ठंड और गर्मी का भी है लगातार वर्षा जाड़ा और गर्मी का क्रम अब संभव नहीं रहा है और आने वाले दिनों में यह स्थिति और भी भीषण होगी क्योंकि अब धरती को हरा-भरा और ऑक्सीजन से भरपूर बनाना संभव नहीं हो पाएगा।

इस वर्ष में महीने में भारत में वर्षा का नया कीर्तिमान बनेगा 1 जून से 15 जून तक कम वर्षा और सुख का फिर 15 जून से 15 जुलाई तक सबसे अधिक वर्षा का कीर्तिमान बनेगा जुलाई और अगस्त के बाद 15 से 20 सितंबर तक मानसून के अचानक समाप्त होने से कृषि बागवानी और अन्य चीजों पर इसका निर्णायक असर पढ़ने की आशा है जौनपुर और आसपास के सभी जनपदों और पूर्वांचल क्षेत्र तथा बिहार भी इस वर्ष काफी दिनों के बाद औसत से अधिक वर्षा होने की प्रबल संभावना दिख रही है और भयंकर उमस पसीने भरा वातावरण और गर्मी की अवधि 25 अक्टूबर तक अनवरत जारी रहेगी लेकिन जब वर्षा तेज होगी तब मौसम सुहाना प्रतीत होता इस वर्ष धान के साथ-साथ मिली जुली फैसले जैसे मक्का ज्वार बाजरा अरहर इत्यादि बोना किसानों के लिए बहुत ही लाभदायक रहेगा

Friday, 23 May 2025

जौनपुर में शराब गोदाम के सामने मुख्य सड़क पर सीवर लाइन टूटा हुआ और उसका में होल का ढक्कन खुला हुआ है

जौनपुर जनपद स्थित खरका तिराहा थाना लाइन बाजार जनपद जौनपुर में शराब गोदाम के सामने मुख्य सड़क पर सीवर लाइन टूटा हुआ और उसका में होल का ढक्कन खुला हुआ है है जिससे दिन रात बड़ी संख्या में यात्री गुजरते रहते हैं इस खतरनाक मैनहोल में कभी भी पैदल या वाहन सवार गिरकर दुर्घटनाग्रस्त हो सकते हैं और बहुत बड़ी दुर्घटना होने की संभावना बनी हुई है इसलिए तत्काल इस सीवर लाइन को सही किया जाना जनहित में अत्यंत आवश्यक है इस आशय का प्रस्ताव अमित सिंह निवासी स्थानीय द्वारा  जिला विधिक सेवा प्राधिकरण जौनपुर के माननीय सचिव अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश को दिया गया है इसलिए संबंधित विभाग और अधिकारी गण तत्काल है इस मैनहोल गड्ढे को सही करें जिससे भविष्य में किसी प्रकार की दुर्घटना घटित ना हो

*बाजारों में नहीं बेचे जाए पाकिस्तानी सूट और चीनी उत्पाद* स्वदेशी जागरण मंच के पूर्व ज़िला संयोजक फरहत अली खान

*बाजारों में नहीं बेचे जाए पाकिस्तानी सूट और चीनी उत्पाद* 
स्वदेशी जागरण मंच के पूर्व ज़िला संयोजक फरहत अली खान ने कहा की बाजारों में आज भी धड़ल्ले पाकिस्तानी सूट बेचे जा रहे हैं। पाकिस्तान जो हमारा दुश्मन मुल्क है। जिसने हमारे मुल्क में मासूमों की हत्या कर आतंक मचा रखा है।। अभी हमारी फौज ने जिसका मुंहतोड़ जवाब दिया है।। हमें इसका कड़ा विरोध कर इसके नाम से बिकने वाले या यह नाम रखने वालों पर कड़ी कार्यवाही होना चाहिए।

चाइना, तुर्की, अज़रबयान जैसे मुल्क जिन्होंने पाकिस्तान का साथ दिया यानि जो हमारे देश के दुश्मन हैं वो हमारे भी दुश्मन हैं।।
अगर अब इस तरह के कोई उत्पाद या कुछ भी किसी व्यापारी या दुकानदार पर पाया गया तो यह राष्ट्रविरोधी माना जाएगा।।
अब वह समय आ गया है जब स्वदेशी को अपनाना है और विदेशी को हटाना है।।
हमारा देश दुनिया की सर्व शक्ति बनने जा रहा है। देशवासियों को सूझ बूझ अपनाते हुए आर्थिक व्यवस्था को भी बढ़ावा देना है। पाकिस्तान जैसे दुश्मन देश उन्हें भी सबक सिखाने की ज़रूरत है। यह आपके हाथ है कि आप देश के साथ है या देश के ख़िलाफ़।
फरहत अली खान 
पूर्व ज़िला संयोजक 
स्वदेशी जागरण मंच रामपुर

Thursday, 22 May 2025

20 मई से मौसम बदलने की भविष्यवाणी सही हुई आगे 20 से 22 मई के बीच बहुत तेज हवा आंधी अंधड़ बवंडर चलने की और हल्की फुल्की वर्षा की भविष्यवाणी तेज हवा वज्रपात और बिजली की चमक गरज के साथ भी सही होगी मुझे नहीं लगता कि सरकारी और प्राइवेट मौसम विभागों की 27 मई से मानसून आने की भविष्यवाणी सही होगी क्योंकि हमारे केंद्र के अनुसार 31 म ई से 2 जून के बीच ही मानसून आ सकता है क्योंकि यह पहले ही 15 मैं को आ चुका है और केरल से लेकर महाराष्ट्र गुजरात पूर्वोत्तर भारत में बरस रहा है

20 मई से मौसम बदलने की भविष्यवाणी सही हुई आगे 20 से 22 मई के बीच बहुत तेज हवा आंधी अंधड़ बवंडर चलने की और हल्की फुल्की वर्षा की भविष्यवाणी तेज हवा वज्रपात और बिजली की चमक गरज के साथ भी सही होगी मुझे नहीं लगता कि सरकारी और प्राइवेट मौसम विभागों की 27 मई से मानसून आने की भविष्यवाणी सही होगी क्योंकि हमारे केंद्र के अनुसार 31 म ई से 2 जून के बीच ही मानसून आ सकता है क्योंकि यह पहले ही 15 मैं को आ चुका है और केरल से लेकर महाराष्ट्र गुजरात पूर्वोत्तर भारत में बरस रहा है

आज का अधिकतम तापमान 37 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस रहेगा जिसके कारण 4:00 बजे से 9:00 सुबह तक काफी सुहाना मौसम रहेगा सुबह   हल्के  बादल रहेंगे बाद में खुली धूप होगी फिर घने बादल तेज हवा झनझनाहट के साथ कहीं-कहीं बूंदाबांदी तो कहीं-कहीं हल्की वर्षा हो सकती है यही स्थिति कल भी रहेगी । पुलिस वाले में सुरक्षित है और यहां वर्षा वज्रपात ओलावृष्टि आंधी तूफान की संभावना सबसे कम है

न्यूनतम तापमान 27 डिग्री होने से भयंकर  उमस और गर्मी पसीना में कमी रहेगी वायुमंडल में सापेक्षिक आर्द्रता 75% तक बढ़  जाने से भीषण पसीने उमस से लथपथ असहनीय गर्मी  दोपहर को होगी।

कल के मौसम के बारे में अनुमान है कि अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 27 डिग्री सेल्सियस हो जाएगा महाभयंकर उमस और गर्मी में कमी आने से कुछ राहत मिलेगी लेकिन दोपहर में और रात में भयंकर उमस पसीना रहेगा और कल भी अचानक मौसम बिगड़ कर आंधी पानी के साथ बूंदाबांदी वर्षा की संभावना बन रही है इस समय कुछ भी खानपान करते समय बहुत सावधान रहना होगा भोजन कम पसंद पानी अधिक ग्रहण करना उचित रहेगा

 17 मई से 23 मई तक भयंकर गर्मी प्रचंड उमस और पसीना के  वातावरण में लगातार कमी आएगी और मौसम एक बार फिर परिवर्तनशील हो जाएगा बादलों के साथ जौनपुर जनपद के पड़ोसी जिलों में गरज चमक वज्रपात झंझावात के साथ हल्की वर्षा का योग 20-23 तक बनेगा। इसका सबसे कम असर जौनपुर में ही रहेगा यद्यपि 21 से 23 तक बहुत तेज आंधी बवंडर का मौसम रहेगा उत्तर प्रदेश के मध्य और पश्चिमी भागों से लेकर दिल्ली पंजाब हरियाणा तक बहुत ही खराब तेज वर्षा आंधी तूफान झंझाबाद वज्रपात वाला मौसम रहेगा जबकि केरल कर्नाटक गोवा महाराष्ट्र पूर्वोत्तर भारत में लगातार 15 दिनों तक भारी मानसून वर्षा होगी किसी से मानसून की समय सारणी गड़बड़ हो जाएगी

गर्मी भयंकर रहेगी लेकिन उमस और आर्द्रता में वृद्धि होगी धीरे-धीरे वातावरण आर्द्र होता जाएगा और सापेक्षिक आर्द्रता बढ़ कर अधिकतम 80 और न्यूनतम 35 तक आ जाएगी आज वर्षा की संभावना नहीं है यद्यपि सुबह घने बादल छाए रहेंगे

हवा की दिशा  पूर्वी और गति 10 से 25 किलोमीटर प्रति घंटा रहेगी और एक सप्ताह तक पुरवा हवा लगातार चलेंगी और हवा आर्द्र रहेगी इसलिए अधिकतम और न्यूनतम दोनों तापमान घटेगा। मौसम में कभी भी कहीं भी परिवर्तन के साथ आंधी तूफान आ सकता है

आज सूर्योदय 5:10 पर और सूर्यास्त 6:42पर होगा धीरे-धीरे दिन की अवधि लगातार अधिक और रात की अवधि लगातार कम होती जाएगी 

पराबैंगनी किरणों अर्थात अल्ट्रावायलेट रेज स्तर 7 से 11 के बीच होगा जो बहुत अधिक और बहुत भयानक होगा लगातार धूप में 1 मिनट से अधिक खड़ा होना हानिकारक होगा

वायु गुणवत्ता सूचकांक 150 से 250 के बीच रहेगा जो संतोष जनक है जबकि वातावरण और हवा में प्रदूषण और हानिकारक कणों की मात्रा अत्यधिक रहेगी 

जौनपुर और उत्तर भारत मध्य भारत का मौसम तेज चटक धूप वाला सूखा और बेहद गर्म होगा दक्षिण भारत पूर्वोत्तर और पश्चिम उत्तर भारत में मौसम परिवर्तनशील रहेगा जबकि गुजरात मुंबई और  दक्षिण भारत आसपास के क्षेत्र में तूफान वज्रपात के बीच भारी वर्षा के और बेंगलुरु तमिलनाडु श्रीलंका आंध्र प्रदेश बंगाल और पूर्वोत्तर भारत में कहीं-कहीं घनघोर मूसलाधार वर्षा होने के संकेत मिल रहे हैं- डॉ दिलीप कुमार सिंह मौसम विज्ञानी ज्योतिष शिरोमणि एवं निदेशक अलका शिप्रा वैष्णवी ज्योतिष मौसम पूर्वानुमान एवं विज्ञान अनुसंधान केंद्र जौनपुर
[5/12, 5:53 AM] Dr  Dileep Kumar singh: हमारे अलका शिप्रा वैष्णवी ज्योतिष मौसम पूर्वानुमान एवं विज्ञान अनुसंधान केंद्र जौनपुर केंद्र की भविष्यवाणी के अनुसार 9 मे ई  से 17 म ई तक महा भयंकर प्रलयंकर  उमस पसीना और गर्मी जारी है।