*आज का मौसम आज का मौसम अत्यंत ही भयंकर कोहरा वाला ढूंढ वाला और भीषण ठंडा होगा आसपास दिखाई देना बंद हो जाएगा तापमान गिरकर 6.7 डिग्री सेल्सियस आ जाएगा अधिकतम तापमान 23 डिग्री सेल्सियस रहेगा जो लोग हमारे केंद्र की भविष्यवाणियों को हल्के में ले रहे थे या मजाक उड़ा रहे थे उनसे भी मेरा अनुरोध है कि सारे उचित उपाय अभी भी कर ले क्योंकि 15 दिसंबर से शुरू हुई है महा ठंड लगातार बढ़ती चली जाएगी और 15 फरवरी से पहले इसमें कमी होने की कोई आशा नहीं है क्योंकि सारी दुनिया बर्फ की सफेद चादर से ढकने जा रही हैं जो संपूर्ण उत्तरी अमेरिका संपूर्ण अलास्का ग्रीनलैंड यूरोप के सारे भागों अनेक अरब देशों को अपने आगोश में लेते हुए रूस चीन मंगोलिया जापान कोरिया तिब्बत को डांटते हुए हिमालय छात्रों को पार कर जाएगी और मैदानी भागों में भी तापमान 0 डिग्री सेल्सियस से नीचे पहुंच जाएगा इसलिए मेरा सभी से निवेदन है कि इस महान से जो भारत में 2 महीने और उत्तरी गोलार्ध में पूरे 4 महीने चलेगी बचने के लिए सारे उपाय करें*
आज खिचड़ी महापर्व अर्थात मकर संक्रांति तक धूप के दर्शन दुर्लभ होंगे थोड़ी बहुत दुख जो होगी उससे कोई असर नहीं पड़ने वाला है उत्तर भारत के मैदानों में तापमान शून्य से लेकर उस से 5 डिग्री नीचे न्यूनतम रहेगा दक्षिण भारत में न्यूनतम तापमान 15 डिग्री सेल्सियस और अधिकतम 30 डिग्री सेल्सियस रहेगा जबकि अमेरिका यूरोप ग्रीनलैंड रूस चीन मंगोलिया तिब्बत लेह लद्दाख कारगिल हिमालय के क्षेत्रों में नेपाल भूटान सिक्किम अरुणाचल प्रदेश उत्तराखंड में तापमान 11 से लेकर माइनस 90 डिग्री सेल्सियस रहेगा धुंधला तुषार बर्फीली आंधियां और बवंडर पूरी दुनिया को छोड़कर और हिला कर रख देंगे और ऐसा लगेगा नया युग शुरू हो गया है विज्ञान और वैज्ञानिकों के सारे आकलन विफल हो जाएंगे और ग्लोबल वार्मिंग हवा हो जाएगी क्योंकि सभी लोग उल्टा सीधा गलत आकलन प्रस्तुत करते हैं वह भी सरकार और उद्योगपतियों के इशारों पर इसलिए सब लोग सजग रहें सावधान रहें
*क्योंकि इस वर्ष इस ठंड का प्रभाव भारत में मध्य प्रदेश गुजरात महाराष्ट्र उड़ीसा से आगे बढ़कर मुंबई कर्नाटक अपना असर दिखाएगा और जल्दी ही तापमान तरी मैदानों में गिरकर शून्य के आसपास पहुंच जाएगा राजस्थान गुजरात के माउंट आबू और पश्चिम उत्तर भारत में 0 से नीचे पहुंच जाएगा क्रिसमस और नया अंग्रेजी ईसाई वर्ष बर्फ की सफेद आगोश में खो जाएगा डॉ दिलीप कुमार सिंह एवं समस्त विद्वान सदस्य गण डॉक्टर पद्मासिंह डॉ श्वेता सिंह डॉ मानवेंद्र कन्हैयालाल पांडे मनीष कुमार पांडे एके राय एसके उपाध्याय मनीष सुरेश कुमार बर्मा राजकुमार मौर्य और सभी सदस्य गण*
*22 दिसंबर अद्भुत खगोलीय घटना सबसे बड़ी रात और सबसे छोटा दिन*
*कल 22 दिसंबर को दुनिया में सबसे छोटा दिन और सबसे बड़ी रात होगी जौनपुर और आसपास लगभग 14 घंटे की रात और 10 घंटे का दिन होगा जबकि मध्य एशिया मध्य यूरोप और मध्य अमेरिका में लगभग 20 घंटे कि रात और 4 घंटे का दिन होगा जबकि उत्तरी ध्रुव वृत्त पर 2 घंटे का दिन और 22 घंटे की रात होगी इसी तरह उत्तरी ध्रुव पर कल अन्तिम बार 6 महीने वाली रात होगी फिर वहां 6 महीने का दिन होगा *
*सूर्य के चारों ओर पृथ्वी द्वारा 106000 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से परिक्रमा करने से और अपने अक्ष पर लट्टू की तरह घूमने से ऐसा होता है। इसी तरह 21 जून को सबसे बड़ा दिन और सबसे छोटी रात होती है जब जौनपुर और आसपास तथा उत्तर भारत में 14 घंटे का दिन और केवल 10 घंटे की रात होती है मध्य एशिया मध्य यूरोप मध्य अमेरिका में 20 घंटे का दिन 4 घंटे की रात होती है उत्तरी ध्रुव वृत्त पर 22 घंटे का दिन 2 घंटे की रात होती है और उत्तरी ध्रुव पर इस दिन से आखरी बार दिन होकर 6 महीने की रात शुरू हो जाती हैं जहां त्रेता युग में महा भीमकाय कुंभकरण बारी बारी से उत्तरी और दक्षिणी ध्रुव पर क्6/6 महीने सोया करता था*
*दक्षिणी गोलार्ध में इसके विपरीत स्थितियां होती हैं भारत न्यूजीलैंड आस्ट्रेलिया दक्षिण अमेरिका दक्षिण अफ्रीका में 22 दिसंबर को सबसे बड़ा दिन और सबसे छोटी रात तथा गर्मी का मौसम रहता है इस समय आस्ट्रेलिया और दक्षिण अमेरिका तथा अफ्रीका में बिल्कुल उल्टा अर्थात गर्मी का मौसम चल रहा है जिनके घर के बच्चे ऑस्ट्रेलिया में पढ़ रहे हैं वह इस तथ्य को अच्छी तरह जान रहे हैं इसीलिए अंटार्कटिका के अभियान दिसंबर महीने में किए जाते हैं क्योंकि तब वहां पर गर्मी का मौसम रहता है*
*जबकि 21 मार्च और 23 सितंबर को दुनिया भर में दिन रात लगभग बराबर 12 12 घंटे के होते हैं और मौसम समशीतोष्ण अर्थात ना अधिक गर्म ना अधिक ठंडा रहता है इसीलिए शारदीय और बसंतिक नवरात्रि का आयोजन किया गया है क्योंकि तब मौसम बसंत ऋतु जैसा रहता है और मौसम परिवर्तन के कारण गर्मी और जाड़ा एक समान बहुत सुंदर मौसम वाला होता है तब पृथ्वी सूर्य से ऐसे अक्ष पर होती है कि दिन और रात दोनों बराबर होते हैं*
*पृथ्वी के परिक्रमण अर्थात सूर्य के चारों ओर चक्कर लगाने के कारण और परिभ्रमण अर्थात अपनी धुरी पर घूमने के कारण के कारण ही यह सब अद्भुत विचित्र विलक्षण घटनाएं होती हैं इसीलिए 22 दिसंबर के 1 महीने पहले से जाड़ा शुरू होकर दो महीने बाद तक पूरे 3 महीने घनघोरजाड़ा रहता है और यही हाल 21 जून को भी होता है जब अप्रैल से जुलाई तक 3महीने गर्मी प्रचंड रहती हैं यह पृथ्वी पर घटने वाली सबसे विचित्र घटनाओं में से एक है*
*डॉ दिलीप कुमार सिंह ज्योतिष शिरोमणि मौसम विज्ञानी एवं निदेशक अलका शिप्रा वैष्णवी ज्योतिष मौसम और विज्ञान अनुसंधानकेंद्र*💐
*संपूर्ण भारत के मौसम में होने जा रहा है परिवर्तन*
*एक बार फिर भारत के मौसम में होने जा रहा है परिवर्तन आज अर्थात 23 दिसंबर से लेकर 27 दिसंबर तक बंगाल की खाड़ी में उठने वाले विक्षोभ और तेज हवाओं के प्रभाव से संपूर्ण भारत का मौसम बादल से और तेज हवाओं से भर जाएगा घूमते हुए वायु के कारण बादल आज रात से संपूर्ण उत्तर भारत में छा जाएंगे कहीं हल्का तो कहीं गहरे बादल होंगे और अधिकांश उत्तरी भारत में बूंदाबांदी कहीं कहीं हल्की तो कहीं मध्यम वर्षा होगी जौनपुर और आसपास बूंदाबांदी के योग हैं जबकि लखनऊ गोरखपुर नेपाल और मध्य प्रदेश तथा दिल्ली के अनेक हिस्सों में हल्की से सामान्य वर्षा 23 दिसंबर से 27 दिसंबर के बीच होगी जिसके बाद मौसम एक बार फिर से साफ हो जाएगा इसलिए 23 दिसंबर से 27 दिसंबर तक एक बार तापमान फिर से बढ़ जाएगा और यह न्यूनतम तापमान 7 डिग्री से बढ़कर 12 से 9 डिग्री सेल्सियस की जगह14 से 15 डिग्री सेल्सियस और अधिकतम 21 से 22 की जगह 25 से 26 डिग्री सेल्सियस हो जाएगा*
*उधर दक्षिणी भारत मैं बंगाल की खाड़ी का यह विक्षोभ हल्के चक्रवात में बदल जाएगा इसलिए अंडमान निकोबार द्वीप समूह तमिलनाडु केरल अंडमान के मध्य भागों में और तेलंगाना तथा आंध्र प्रदेश में सामान्य से भारी बारिश बहुत तेज हवाओं के साथ होगी यहां का सामान्य तापमान 20 डिग्री से 32 डिग्री सेल्सियस के बीच होगा 27 दिसंबर से इस विक्षोभ और चक्रवात का प्रभाव समाप्त होने से एक बार फिर भारत में ठंड और शीतलहर का प्रकोप शुरू हो जाएगा डॉक्टर दिलीप कुमार सिंह एवं समस्त विद्वान सदस्य गण अलका शिप्रा वैष्णवी ज्योतिष मौसम और विज्ञान अनुसंधान केंद्र*
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